- Language : Hindi
- Paperback : 112 pages
- ISBN-10 : 8195123481
- ISBN-13 : 978-8195123481
- Item Weight : 112 gm
- Dimensions : 5.5 x 0.5 x 8.5 cm
Product Description –
प्यार बिना चैन कहाँ’ संग्रह की कहानियाँ युवा मन की कहानियाँ हैं। प्यार, बचपना और युवा जीवन का अल्हड़ प्रेम किस प्रकार फलता-फूलता है, उन्हें इन कहानियों में बुना गया है। इसी प्रकार एक चेतन युवा किस प्रकार आस-पास के समाज को देखने समझने की कोशिश करता है उसी समझ को कहानीपन और क़िस्सागोई से साझा करने की कोशिश की गई है।
About the Author –
हरीश कुमार पिछले कुछ वर्षों से हिंदी कहानी में सक्रिय हैं। पंजाब में रहते हैं और अध्यापन करते हैं। पढ़ने और यात्रा करने के शौक़ीन हरीश के पहले दो कहानी संग्रह प्रकाशित हो चुके हैं। हरीश जीवन के यथार्थ को अपने नज़रिये से देखते हुए कहानियाँ पकड़ते हैं । किसी विशेष विचारधारा का प्रभाव उन पर नहीं है। वे युवा मन और उसमें बसने वाले रागात्मक और प्रेममूलक भावों को बख़ूबी कहानियों में प्रकट करते हैं। उनकी कहानियों में जहॉं प्यार और दोस्ती के क़िस्से आते हैं वहीं मध्यवर्ग के जनमानस की अधूरी चाहतें, सपने तथा छूट गए समय से जुड़ी भावनाएँ भी प्रमुख रूप से बनी रहती हैं । प्रेम, व्यंग और सामाजिक यथार्थ की क़िस्सागोई उनकी कहानियों का मूल तत्व है। अब वे रेडग्रैब बुक्स के प्रकाशन में अपनी नई कहानियों का संग्रह ‘प्यार बिना चैन कहाँ” नाम से और भी दिल छू जाने वाली कहानियाँ आप के सामने ला रहे हैं।.
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